Monday, August 17, 2009

PRM1 pg 319

bhanuBhupa-ghara baajat badhaii ( PRM 1 - 319 )
विदेह वि. [सं.] 1.देह अर्थात् शरीर से रहित। जिसका शरीर न हो। 2.हत। बेहोश। 3.शारीरिक चिन्ताओं आदि से रहित। 4.सांसारिक बातो से विरक्त। 5.मृत। पुं.1.वह जिसकी उत्पत्ति माता-पिता से न हुई हो। -देवता। भूत-प्रेत आदि। 2.मिथिला के राजा जनक का एक नाम। मिथिला देश। 4.मिथिला देश का निवासी। मैथिल। 5.राजा निमि का एक नाम।

सूर पुं.[सं.][स्त्री.सूरी] 1.सूर्य। 2.आक। मदार। 3.बहुत बड़ा पंडित। आचार्य। 4.वर्तमान अवसर्पिणी के सत्रहवें अर्हत् कुंथु के पिता का नाम। (जैन) 5.छप्पय छंद के 71 भदों में से 54 वाँ भेद जिसमें 16 गुरु, 120 लघु, कुल 136 वर्ण और 152 मात्राएँ होती हैं। 6.मसूर। 7.दे.‘सूरदास’। वि.अन्धे या नेत्र-हीन व्यक्ति के लिए आदरसूचक विशेषण। पुं.[सं.शूकर,प्रा.शअर] 1.सूअर। 2.भूरे रंग का घोड़ा। पुं.[देश.] पठानों का एक भेद। जैसे-शेरशाह शूर। पुं. 1.=शूर (वीर)। 2.=शूल।

यदु-भूप पुं. [सं.ष.त.] श्रीकृष्ण।

सुर-भूप पुं.[सं.ष.त.] 1.इन्द्र। 2.विष्णु।

पीयूष-भानु पुं. [ब.स.] चंद्रमा।